नीति आयोग भारत सरकार एवं स्वर्ण भारत द्वारा इंदौर की बेटी को सम्मान से नवाज़ा

 

इंदौर की ख़ुशी को मिला डॉ.कलाम राष्ट्रीय पुरस्कार 
 खबर नेशन Khabar Nation
इंदौर। इंदौर की बेटियां आगे बढ़ रही हैं और शहर का नाम रोशन कर रही हैं।महालक्ष्मी नगर में रहने वाली शहर की ऐसी होनहार,प्रतिभावान खुशी शेख़ को स्वर्ण भारत परिवार और विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा यूनिसेफ , यूएनडीपी , राष्ट्रीय स्वास्थ्य अभियान और महिला एवं बाल विकास विभाग भारत सरकार के सहयोग से डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम राष्ट्रीय पुरस्कार 2020 से नवाजा गया है। महिला बाल विकास मंत्रालय, यूनिसेफ और यूनेस्को के संयुक्त आयोजन में हुए वर्चुअल कार्यक्रम में उन्हें यह अवॉर्ड दिया।ऑनलाइन आयोजित कार्यक्रम में स्वर्ण भारत परिवार के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं कुपोषण मुक्त विश्व मीट के संयोजक पीयूष पंडित ने देश एवं विदेश के उन लोगों राष्ट्रीय पुरस्कार से वर्चुअल नवाजा। पीयूष पंडित ने अपने संदेश में कहा कि कामयाब लोग अपने फैसले से दुनिया बदल देते है,और नाकामयाब लोग दुनिया के डर से अपने फैसले बदल लेते हैं। ख़ुशी ने सम्मान के प्रतिउत्तर में कहा मेहनत और जुनून से सफलता का ताज मिलता है।
गौरतलब है कि संस्था की ओर से 10 साल से आयोजित किया जा रहा है। कार्यक्रम में चयन समिति की ओर से देश की चुनिंदा हस्तियों को डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम राष्ट्रीय सम्मान 2020 से अलंकृत किया गया। इस दौरान कुपोषण मुक्त विश्व परिचर्चा 2020 ग्लोबल कार्यक्रम का आयोजन किया गया।जिसमें 23 देशों ने प्रतिभाग किया। नीति आयोग के निर्देशानुसार राष्ट्रीय पोषण माह के मद्देनजर कार्यक्रम की प्राइम थीम संकल्प कुपोषण मुक्त भारत रही। 
ख़ुशी को यह अवार्ड (निर्माण परियोजना प्रबंधक एवं एंटरप्रेन्योर) को उनकी उत्कृष्ट सेवाओं के लिए और कुपोषण मुक्त विश्व बनाने के लिए समुदाय के साथ सेना में शामिल होने के लिए "डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम राष्ट्रीय पुरस्कार" प्रदान किया गया। ख़ुशी ने पहले भी कई पुरस्कार प्राप्त किये हैं, जिनमें इन्सपाईरिंग वुमेन नेशनल अवॉर्ड 2019 दिल्ली, जयपुर नेशनल अवॉर्ड, उदयपुर प्राइड अचीवमेंट अवॉर्ड,2020 ग्लोबल अवॉर्ड आदि शामिल है। कार्यक्रम की अध्यक्षता बाड़मेर के डाॅ. तातेड़ ने की। राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित होने पर ख़ुशी ने स्वर्ण भारत परिवार के संस्थापक व राष्ट्रीय अध्यक्ष पीयूष पंडित व चयन समिति की अध्यक्ष डॉ.राधा वाल्मीकि का आभार माना।

Share:


Related Articles


Leave a Comment