देशवासियों के जीवन में क्रांतिकारी बदलाव लाएगा बजट : राकेश सिंह
प्रदेश अध्यक्ष ने कहा-किसानों, मध्यम वर्ग और असंगठित क्षेत्र के लिए क्रांतिकारी है बजट
खबरनेशन/Khabarnation
भोपाल। केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तुत अंतरिम बजट ऐतिहासिक और क्रांतिकारी है। यह देश की दिशा और दशा बदलने वाला बजट है, जो देश की उन्नति में मील का पत्थर साबित होगा। देश की विकास यात्रा को गति देगा। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी की सरकार का यह बजट इतिहास में स्वर्णाक्षरों से लिखा जाएगा। बजट में कृषि, ग्रामीण विकास, स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार, बुनियादी ढांचागत क्षेत्रों को मजबूत करने के मिशन पर फोकस किया गया है और विकास के इस प्रयास में देश के श्रमिकों, किसानों, महिलाओं और गरीबों का भी ध्यान रखा गया है। इसके साथ ही आयकर की सीमा 2.5 से 5 लाख करके सरकार ने मध्यम वर्ग को उदारतापूर्वक राहत देने का प्रयास किया है। यह बात शुक्रवार को पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष व सांसद श्री राकेश सिंह ने केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तुत अंतरिम बजट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कही।
कृषि क्षेत्र और किसानों की बदलेगी तस्वीर
प्रदेश अध्यक्ष श्री राकेश सिंह ने बजट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि केंद्र सरकार का यह बजट देश के कृषि क्षेत्र के साथ-साथ किसानों के लिए भी क्रांतिकारी होगा। सरकार ने पूरे देश में ली जाने वाली 22 फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य की घोषणा की है। किसान सम्मान निधि के तहत मिलने वाली 6000 रुपए की राशि देश के 12 करोड़ किसानों की आय बढ़ाने तथा उनके जीवन को आसान बनाने में मददगार होगी। श्री सिंह ने कहा कि परंपरागत रूप से हमारी कृषि अर्थव्यवस्था में गौ आधारित रही है। केंद्र सरकार की कामधेनु योजना में गौपालकों को दी जाने वाली 500 रुपए की राशि किसानों को वापस गौपालन की ओर ले जाएगी, जिससे जैविक कृषि को बढ़ावा मिलेगा। इसके अलावा सरकार ने पशुपालन तथा मछली पालन पर ब्याज में 2 फीसदी सब्सिडी देने की भी घोषणा की है।
मध्यम वर्ग को मिलेगी राहत
सिंह ने कहा कि देश में पहली बार प्रधानमंत्री श्री मोदी की सरकार ने देश के बड़े मध्यम वर्ग के बारे में सोचा है और उसकी तकलीफों को समझते हुए राहत देने का प्रयास किया है। केंद्र सरकार ने आयकर की सीमा को ढाई लाख से बढ़ाकर 5 लाख कर दिया है, जिससे देश के मध्यम वर्ग और विशेषकर नौकरीपेशा वर्ग के 3 करोड़ लोगों को लाभ होगा। उन्होंने कहा कि इस वर्ग के लोगों के लिए यह एक क्रांतिकारी निर्णय है। इसके अलावा स्टेंडर्ड डिडक्शन की सीमा भी बढ़ाई गई है। इन दोनों ही कदमों से मध्यमवर्गीय लोगों को राहत मिलेगी।