इफोसिंस के बाद अब विप्रो को भी न्यूटाउन में उद्योग की जमीन

आवासन निर्माण की सरकार ने दी अनुमति  

 

Khabar Nation /खबर नेशन
कोलकाताः इंफोसिस के बाद अब विप्रो को भी राज्य सरकार ने फ्री होल्ड जमीन प्रदान की है. मंगलवार को नवान्‍न सूत्रों से यह जानकारी मिली है. इसके कारण जमीन का ४९ फीसदी हिस्सा इच्छानुसार संस्था उपयोग कर सकेगी. ५१ फीसदी में आईटी उद्योग स्थापित करना पड़ेगा.  २०११ में ९९ वर्ष की लीज पर न्यूटाउन में विप्रो को तत्कालीन वाममोर्चा सरकार ने ५० एकड़ जमीन दिया था. विप्रो का कहना था कि एसईजेड की मर्यादा उनकी परियोजना को देना होगा. इसके बीच राज्य में तृणमूल सत्ता में आयी. राज्य सरकार की ओर से स्पष्ट कहा गया कि किसीभी प्रकार से एसईजेड की मार्यादा राज्य सरकार के किसी परियोजना को नहीं दिया जायेगा. इसके बदले एसईजेड की सभी सुविधाएं कंपनी को सरकार देने को तैयार है. गत आठ वर्ष से अचलाव्यवसथा जारी थी.  लंबी बातचीत के बाद गत वर्ष न्यूटाउन में विप्रो परियोजना के पास ही फ्री होल्ड में ५० एकड़ जमीन इंफोसिस को मिला. शर्त यह थी कि कम से कम ५१ फीसदी जमीन पर आईटी उद्योग लगाना ही होगा. बाकी ४९ फीसदी जमीन पर इच्छानुसार उपयोग कर सकेंगे. इसके बाद इसी शर्त पर जमीन की मांग विप्रो ने की. समस्या समाधान के लिए गत महीने में मंत्रीसमूह का गठन ममता बनर्जी ने किया. इसमें उद्योगमंत्री अमित मित्र, शिक्षामंत्री पार्थ चट्टोपाध्याय, शहरी विकास मंत्री फिरदाह हकीम मौजूद थे. राज्य में वतर्मान उद्योग परिस्थिति व राज्य के कोषागार की बात पर विचार कर विप्रो को भी फ्री होल्ड जमीन देने का उन्होंने फैसला लिया. न्यूटाउन के उस जमीन के लिए इसबीच सरकार को ७५ करोड़ रुपये विप्रो ने दिया है. परंतु होल्ड में जमीन पाने के लिए उन्हें और रुपये सरकार को देने होंगे. उस जमीन पर संस्था का कोलाकाता में दूसरा कैंपस बनेगा. ऐसा कंपनी ने कहा  है. वहां कम से कम १० हजार लोगों को रोजगार का अवसर मिलेगा.

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