पत्रकार वार्ता: मीनाक्षी लेखी

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कांग्रेस ने प्रदेश को बनाया था सिमी का गढ़भाजपा ने

भय मुक्त माहौल दिया : मीनाक्षी लेखी               

                भोपाल। कांग्रेस के समय कानूनी व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गयी थी। आतंकवाद, सिमी की गतिविधियां मध्यप्रदेश में बढ़ चुकी थी। आज के मध्यप्रदेश और 2003 के पहले के मध्यप्रदेश की तुलना करें तो मध्यप्रदेश कों कांग्रेस ने सिमी का गढ़ बनाया तो भाजपा ने जनता को भयमुक्त माहौल दिया। यह बात भाजपा की राष्ट्रीय प्रवक्ता सांसद श्रीमती मीनाक्षी लेखी ने शनिवार को भोपाल में होशंगाबाद रोड़ स्थित भाजपा मीडिया सेंटर में पत्रकारों से चर्चा में कहीं।।

नसबंदी, प्रेसबन्दी और मोर्चाबन्दी कांग्रेस सरकार की पहचान

श्रीमती लेखी ने कहा कि कांग्रेस के शासन काल मे मध्यप्रदेश जाना जाता था उन मुख्यमंत्रियों के लिए जिनके अपने रिश्तेदारों को अगवा कर लिया जाता था। अगवा करने के बाद डाकुओं पर कार्रवाही करने की बजाय समझौते करती थी। यही कारण था कि मुख्यमंत्री के नजदीकी लोगों को जब अगवा किया तो उस समय मंत्री खुद बन्दूक उठा कर जंगल मे डाकुओं को पकड़ने के लिए निकल पड़ते थे। कांग्रेस कार्यकाल में चरमराई कानूनी व्यवस्था के फलस्वरूप ही जनता ने उन्हें नकार कर सुरक्षित भविष्य के लिए भाजपा को चुना। उन्होंने कहा कि हमें गर्व है कि जनता ने जिस उम्मीद से भाजपा को जिताया उनके विश्वास पर हम खरे उतरे और मध्यप्रदेश में भयमुक्त माहौल दिया। उन्होंने कहा कि नसबंदी हो, प्रेसबन्दी हो या किसी भी प्रकार की मोर्चा बन्दी कांग्रेस की सरकारें ऐसे कामों के लिए जानी जाती थी।

मध्यप्रदेश में कांग्रेस के समय लूट और अपहरण का बोलबाला था

                श्रीमती मीनाक्षी लेखी ने कांग्रेस सरकार के समय हुई घटनाओं के आंकड़े सामने रखते हुए कहा कि कांग्रेस के समय मध्यप्रदेश में अपहरण और लूट का एक सिलसिला था। कांग्रेस के समय उज्जैन के पास झिरन्या गांव से कुवें मे से बन्दूकों ओर कारतूस का जखीरा बरामद हुआ था। 26 जनवरी1996 में जब पावर हाउस का विस्फोट हुआ था, विस्फोट करने वाला पाकिस्तानी आतंकी भी मध्यप्रदेश में रहा था। टी सीरीज के मालिक गुलशन कुमार की हत्या में शामिल व्यक्ति भी भोपाल में ही शरण ले कर बैठा था। उसकी लाश भी मुख्यमंत्री निवास के ठीक बगल में पाई गयी थी। आतंकवादी शेरू लाल, करीमुद्दीन हो या आईएसआई एजेंट फारुख सभी मध्यप्रदेश में पाए गए। लालकिले के हमले की गतिविधियों से सम्बन्ध रखने वाला अशफ़ाक एहमद भी सालों तक यही छुपा हुआ था। चैन्नई में अंडमान एक्सप्रेस विस्फोट में शामिल शाहिद खान भी मुरैना में पाया गया था। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के समय कानूनी व्यवस्था पूरी तरह चौपट हो चुकी थी। जबकि हमने जनता में सुरक्षा की भावना पैदा की। गोधरा में कारसेवको की नृशंस हत्या और लालकिले की घटना जैसी कई घटनाएं घटी उन सब के मध्यप्रदेश से सम्बन्ध रहे। प्रदेश की भाजपा सरकार ने कानूनी प्रक्रिया के तहत इन सभी के खिलाफ कार्यवाही की ओर भयमुक्त माहौल दिया। 

                उन्होंने कहा कि कांग्रेस के कदम डगमगा रहे है। कांग्रेस नेताओं को यह पता है कि वे मध्यप्रदेश सहित अन्य राज्यों में नही जीतने वाले, इसीलिए बेतुकी बयानबाजी करते है।

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